Thursday 31 October 2019

पूर्वांचल विश्वविद्यालय में मनाई गई पटेल जयंती

विश्वविद्यालय परिसर में लौह  पुरुष सरदार वल्लभभाई पटेल की  जयंती मनाई गई.इस  अवसर पर मुक्तांगन में अधिष्ठाता छात्र   कल्याण प्रोफ़ेसर अजय दिवेदी  ने विद्यार्थियों को एकता की शपथ दिलवाई। उन्होंने सरदार पटेल के व्यक्तित्व एवं कृतित्व पर प्रकाश डाला। बारडोली सत्याग्रह का जिक्र करते हुए कहा कि सरदार वल्लभभाई पटेल ने किसानों के लिए संघर्ष किया और लगान वृद्धि हटाने के लिए अंग्रेजों को विवश किया। किसानों के लिए किये गए  सत्याग्रह के बाद महिलाओं ने  वल्लभ भाई पटेल को सरदार की उपाधि दी थी। उन्होंने कहा कि आज का दिन हमें सामाजिक एकता को और मजबूत करने की प्रेरणा देता है।
विद्यार्थियों ने विश्वविद्यालय के मुख्य द्वार पर एकत्रित होकर देश भक्ति के नारे लगाए और मुख्य द्वार से एकलव्य  स्टेडियम तक एकता के लिए  दौड़ लगाई।इस अवसर पर प्रो राजेश शर्मा, डॉ एस पी तिवारी, शुभांशु,  प्रभाकर, ऋषि श्रीवास्तव, अबू सलेह, डॉ  संजय श्रीवास्तव, पंकज पांडेय समेत  विश्वविद्यालय के  विद्यार्थी एवं शिक्षक मौजूद रहे. 

Thursday 24 October 2019

कैम्पस सेलेक्शन में 26 विद्यार्थियों का चयन

विश्वविद्यालय के परिसर में संचालित पाठ्यक्रम बीटेक कंप्यूटर साइंस इंजीनियरिंग, इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग, इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग, इनफॉरमेशन टेक्नोलॉजी, इंजीनियरिंग तथा एमबीए विद्यार्थियों के कैंपस सेलेक्शन में 26 विद्यार्थियों का चयन किया गया।
चयनित विद्यार्थियों को नियुक्ति पत्र सेंट्रल ट्रेनिंग और प्लेसमेंट सेल की निदेशिका प्रोफेसर रंजना प्रकाश और कंपनी के डायरेक्टर और एचआर द्वारा दिया गया। विश्वविद्यालय परिसर में एके ग्लोबल (गुड़गांव) ने 7 विद्यार्थियों एयरटेल (नई दिल्ली) ने 8 मदरसन सुमी (नई दिल्ली) ने 6 राउंड पे( लखनऊ )ने 5 विद्यार्थियों का चयन किया। ये कंपनियां 21 से 22 अक्टूबर को परिसर में आई। चयनित विद्यार्थियों की लिखित परीक्षा, ग्रुप डिस्कशन, पर्सनल इंटरव्यू के बाद टेलिफोनिक इंटरव्यू हुआ। इन प्रक्रियाओं से गुजरने के बाद छात्र-छात्राओं का चयन हुआ। चयनित छात्रों को प्लेसमेंट सेल की निदेशिका ने बधाई देते हुए कहा कि हमारे यहां के विद्यार्थी कड़ी स्क्रीनिंग के बाद नियुक्त हुए हैं, मुझे पूरा विश्वास है कि वह जिस भी कंपनी में जाएंगे वहां लगन के साथ कड़ी मेहनत करेंगे  जिससे विश्वविद्यालय का नाम रोशन हो। इस अवसर पर टेकिप के डायरेक्टर प्रो. बीबी तिवारी, संकाय अध्यक्ष प्रोफेसर अशोक श्रीवास्तव, प्रबंध अध्ययन संकाय अध्यक्ष प्रो. अविनाश पाथर्डीकर, प्रोफेसर अजय द्विवेदी, डॉ.राजकुमार, डॉ. संतोष कुमार उपस्थित रहे।

महिला छात्रावास की छात्राओं की हुई रक्त जांच

विश्वविद्यालय के द्रौपदी महिला छात्रावास में गुरुवार की सुबह 150 छात्रावासों के रक्त की जांच के लिए सैंपल लिया गया। डॉ विकास सिंह की टीम ने छात्राओं के रक्त का सैंपल लिया साथ ही छात्राओं को स्वास्थ्य के संबंध में जानकारी दी। उन्होंने कहा कि  महिलाओं में  हीमोग्लोबिन की कमी  देखने को मिलती है अपने आहार को व्यवस्थित कर  इसे  सदैव सामान्य रखा जा सकता है।  

महिला छात्रावास की चीफ वार्डन प्रो वंदना राय ने छात्राओं को स्वच्छता, साफ सफाई  के बारे में बताया। इस अवसर पर द्रौपदी छात्रावास की वार्डन अन्नू त्यागी, रानी लक्ष्मी छात्रावास की वार्डन पूजा सक्सेना  मौजूद रहे।

Saturday 19 October 2019

पूर्वांचल विश्वविद्यालय में चाणक्य नाटक की हुई प्रस्तुति

पद्मश्री मनोज जोशी के अभिनय ने दर्शकों को मोह लिया 

राष्ट्र और समाज की उन्नति के पथ में यदि धर्म बाधक है तो धर्म भी त्याज्य है। राजा होना सुखी होने का मार्ग नहीं है स्मरण रहे। यह चाणक्य नाटक के संवाद रहे जिसे बड़ेे ही रोचक अंदाज मेंं प्रख्यात कलाकार पद्म श्री मनोज जोशी में प्रस्तुत किया। उन्होंने चाणक्य के अखंड भारत के सपने को बताया। पुराने समय में जब भारत जब खंड-खंड में बंटा हुआ था,  चाणक्य ने भारत को एकजूट किया था। चाणक्य अपने दृढ संकल्प से  चंद्रगुप्त को अखंड भारत का सम्राट बनाया। 


 दिव्य प्रेम सेवा मिशन हरिद्वार द्वारा आयोजित वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय के अवैैद्यनाथ संगोष्ठी भवन में ज्वलंत ऐतिहासिक हिंदी नाटक चाणक्य की प्रस्तुति प्रख्यात रंगकर्मी और अभिनेता  पद्मश्री मनोज जोशी ने की।  नाटक में 25 कलाकारों की टीम ने चार चांद लगा दिए। दिव्य प्रेम सेवा मिशन हरिद्वार एवं तकनीकी शिक्षा गुणवत्ता उन्नयन कार्यक्रम के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित चाणक्य नाटक में रंगकर्मी पद्मश्री मनोज जोशी ने  तीसरी शताब्दी ईसा पूर्व के महानायक चाणक्य के व्यक्तित्व को बड़ी कुशलता से प्रस्तुत किया। मनोज जोशी के संवादों ने दर्शकों को बांधे रखा। कलाकार वेशभूषा और रंगकर्म से दर्शकों के सामने चाणक्य को सजीव कर दिए। जनपद में पहली बार विश्व प्रसिद्ध हिंदी नाटक चाणक्य  का मंचन हुआ। रंगकर्मी मनोज जोशी की भाव भंगिमा के साथ महान कूटनीतिज्ञ चाणक्य के नीतियों से दर्शक मोहित होते रहे। चाणक्य नाटक के माध्यम से राष्ट्रवाद का संदेश दिया गया।विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर डॉ राजाराम यादव ने  दिव्य प्रेम सेवा मिशन के संस्थापक डॉ आशीष गौतम को अप्रतिम नाटक आयोजित करने के लिए धन्यवाद दिया।उन्होंने कहा कि इस नाटक में बहुत से संदेश है जो युवा पीढ़ी के लिए मार्गदर्शन का काम करेगा।प्रेम सेवा मिशन के संस्थापक डॉ आशीष गौतम ने दिव्य प्रेम सेवा मिशन के उद्देश्यों के साथ अपनी भावी योजनाओं के बारे में बताया। विधायक हरेंद्र प्रसाद सिंह ने भी अपने विचार व्यक्त किये।
संचालन डॉ नंदलाल सिंह ने किया। इस अवसर  विधायक हरेंद्र प्रताप सिंह, उत्तर प्रदेश राजर्षि टंडन विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो के एन सिंह, कुलसचिव सुजीत कुमार जायसवाल, परीक्षा नियंता बीएन सिंह, रामेश्वर सिंह, प्रो ओम प्रकाश सिंह,प्रो बी बी तिवारी, प्रो नीरज खरे, प्रो ओम प्रकाश सिंह, प्रो ए पी सिंह, प्रो बी एन सिंह, पाणिनि सिंह, डॉ मनोज मिश्र,डॉ श्रद्धा सिंह, प्रदीप शाही, संजय सिंह, डॉ सत्य प्रकाश, डॉ श्याम कन्हैया समेत तमाम लोग मौजूद रहे।

Monday 14 October 2019

विश्वविद्यालय ने टीबी मुक्त गांव के लिया बढ़ाया कदम

गोद लिए गांव जासोपुर चकिया में लगाया स्वास्थ्य शिविर

विश्वविद्यालय  द्वारा  प्रदेश की राज्यपाल एवं विश्वविद्यालय की कुलाधिपति श्रीमती आनंदीबेन पटेल के निर्देश के अनुपालन में गोद  लिए गांव जासोपुर चकिया में सोमवार को  स्वास्थ्य प्रशिक्षण शिविर का आयोजन किया गया।  राष्ट्रीय सेवा योजना के तत्वावधान में आयोजित स्वास्थ्य  परीक्षण  शिविर का उद्घाटन  कुलपति प्रो डॉ. राजाराम यादव ने गांधी जी के  चित्र पर पुष्पांजलि एवं  दीप प्रज्वलित करके  किया। उन्होंने अपने सम्बोधन में कहा कि विश्वविद्यालय ने अपने परिक्षेत्र के 50 गांवों को गोद  लिया है।  इन सभी गांवों  में टीबी , कुपोषण एवं पालिथीन उन्मूलन के समूलनाश के लिए विश्वविद्यालय संकल्पित है। उन्होंने कहा कि गांव के चयनित गरीब बच्चों को गोद लेकर उनका सर्वांगीण  विकास किया जाएगा। उन्होंने बच्चों को गांव को स्वच्छ रखने एवं प्लास्टिक मुक्त करने की शपथ भी दिलाई।
राष्ट्रीय सेवा योजना के समन्वयक डॉ राकेश यादव कि स्वास्थ्य परीक्षण शिविर के माध्यम से ग्रामीणों में  जागरूकता आएगी। टीबी और कुपोषित बच्चों को चिकित्सकों द्वारा चिन्हित कर पूर्ण इलाज कराया जायेगा। जासोपुर चकिया गांव में सोमवार को  डॉ. विकास, डॉ. रेहान एवं  विश्वविद्यालय के फार्मेसी संस्थान के  प्रशिक्षु फार्मासिस्ट द्वारा बच्चों, बुजुर्गों एवं महिलाओं का विभिन्न स्वास्थ्य परीक्षण  किया गया। परीक्षण में 186  की लम्बाई माप, 182 के वजन, 96 लोगों के ब्लड ग्रुप, 28 लोगों का ब्लड शुगर ,30  बच्चों की टीबी ,76 लोगों का रक्तचाप, 63 बच्चों  का हिमोग्लोबिन आदि की  जांच की गई । जांच रिपोर्ट आने के बाद सभी को उचित  चिकित्सा मुहैया कराई जाएगी।

इस अवसर पर रमाशंकर यादव, खंड शिक्षा अधिकारी करंजाकला  सुनील कुमार, राजेंद्र सिंह,चंद्र प्रकाश,विजय लक्ष्मी, शहद हिना आन रिजवी, वर्तिका  यादव, डॉ विनय कुमार वर्मा, डॉ अमरेंद्र सिंह, डॉ कमलेश पाल, डॉ राजीव कुमार, डॉ धर्मेंद्र सिंह, डॉ विजय बहादुर मौर्य,शील निधि सिंह, राजन कुमार, संतोष यादव, विकास यादव, पंकज सिंह, नीरज, अखिलेश सिंह, सूरज प्रजापति, सूरज यादव, यशस्वी साहू, मानसी सिंह, पल्लवी, प्रियांशी, शिल्पा, आयुषी, संजीव कुमार, मोहम्मद साबिर, अंशु गुप्ता, सोनू कुमार,अच्छे लाल विश्वकर्मा, शैलेश विश्वकर्मा, जैनेंद्र विश्कर्मा एवं अशोक विश्वकर्मा उपस्थित रहे। संचालन डॉ संजय कुमार श्रीवास्तव ने किया। धन्यवाद ज्ञापन ग्राम प्रधान राम बुझारत ने किया। 

Saturday 5 October 2019

सात दिवसीय श्री राम कथा अमृत वर्षा का अंतिम दिन

हरि अनंत है और उनकी  कथा भी अनंत- आचार्य शांतनु 

जौनपुर। वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय के महंत अवैद्यनाथ संगोष्ठी भवन में चल रही श्री राम कथा का  शनिवार को विराम हुआ. राम कथा में सातवें दिन श्रोतागण भावुक हो गए. श्रीराम कथा अमृत वर्षा में  आचार्य श्री शान्तनु महाराज ने कहा कि भगवान राम की कथा कभी खत्म  नहीं हो सकती। हरि अनंत है और उनकी  कथा भी अनंत है। एक एक चौपाई, दोहा, श्लोक, छंद, स्तुति यहाँ तक की कथा का एक एक शब्द पूर्ण है। राम की कथा सात  जन्मों में भी कोई पूर्ण नहीं कर सकता।उन्होंने कहा कि भगवान् की कथा सुनने से मन निर्मल हो जाता है और मन में दोषों के लिए कोई जगह नहीं बचती है.  आज शनिवार को केवट संवाद के कथा शुरू हुई । केवट  ने कहा कि प्रभु हम आपसे पैसा नहीं लेंगे क्योंकि हमारा आपका व्यवसाय एक है। हम नाव से गंगा पार कराते हैं आप भवसागर से पार कराते हैं। उन्होंने  कहा कि कथा का सूत्र है भगवान प्रतीक्षा से मिलते  है परीक्षा से नहीं। आज हम लोग चमत्कार का इन्तजार करते है। 

कुलपति प्रो डॉ राजाराम यादव ने आचार्य शांतनु जी महाराज को स्मृति चिन्ह भेंट कर सम्मानित किया। इसके साथ रामकथा में हारमोनियम पर अमन मिश्र, तबला पर शंकर दा, वायलिन पर सुरेश, बांसुरी पर सुनील, सह गायक अंकित पाठक, सर्वेश तिवारी एवं प्रदीप,सौरभ शास्त्री  रहे जिन्हें भी सम्मानित किया गया। संचालन जनसंचार विभाग के अध्यक्ष डॉ मनोज मिश्र ने  किया।
व्यास पूजा में कुलपति प्रो डॉ राजाराम यादव, कुलसचिव सुजीत कुमार जायसवाल,वित्त अधिकारी एमके सिंह,परीक्षा नियंत्रक बीएन सिंह, प्रो बी.बी तिवारी,प्रो के पी सिह,प्रो ओपी सिंह,प्रो ए के श्रीवास्तव, प्रो अजय प्रताप सिंह,प्रो अजय द्विवेद्वी,लखन सिंह, डॉ अनिल यादव, डॉ केएस तोमर,राकेश यादव, डॉ दिग्विजय सिंह राठौर, डॉ पुनीत धवन, डॉ संजय श्रीवास्तव समेत तमाम लोग मौजूद रहें। 

माननीय कुलपति प्रोफेसर डॉ राजाराम यादव को मिलेगा प्रोफेसर एस भगवंतम राष्ट्रीय पुरस्कार


 वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर डॉ राजाराम यादव को एकॉस्टिक्स के क्षेत्र में अतुलनीय योगदान एवं नेतृत्व के लिए प्रोफेसर एस भगवंतम राष्ट्रीय पुरस्कार दिया जाएगा। 
एकॉस्टिकल सोसाइटी ऑफ इंडिया नई दिल्ली का यह पुरस्कार 17 अक्टूबर 2019 को कटक के रावेनशॉ विश्वविद्यालय में 47 वें  राष्ट्रीय एकास्टिक्स संगोष्ठी के अवसर पर प्रदान किया जाएगा। विदित है कि यह राष्ट्रीय पुरस्कार एकॉस्टिक्स के क्षेत्र में विश्व स्तरीय सर्वोत्तम शोध के लिए दिया जाता है।  प्रो डॉ राजाराम यादव को उनके उत्कृष्ट शोध कार्य हेतु इस पुरस्कार के लिए चुना गया है। प्रो यादव विगत 35  वर्षों से एकॉस्टिक  के क्षेत्र में सैद्धांतिक एवं प्रायोगिक शोध  से संबद्ध रहे हैं। आपके डेढ़ सौ से अधिक शोधपत्र प्रकाशित हो चुके हैं। प्रो यादव एकॉस्ट्रिक्स के क्षेत्र में अपने शोध पत्र कनाडा, जर्मनी, ऑस्ट्रिया, चीन, बेल्जियम, जापान, इटली, सिंगापुर, नेपाल, फ्रांस, अमेरिका आदि देशों में हुए अंतरराष्ट्रीय सम्मेलनों में प्रस्तुत किया है। कुलपति प्रो डॉ राजाराम यादव ने  विश्वविद्यालय में दो अत्याधुनिक शोध केंद्र नैनो विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी केंद्र एवं  वैकल्पिक ऊर्जा अनुसन्धान केंद्र की  स्थापना भी की है।
कुलपति को मिल रहे राष्ट्रीय पुरस्कार पर विश्वविद्यालय के कुलसचिव सुजीत कुमार जायसवाल, वित्त अधिकारी एमके सिंह, परीक्षा नियंत्रक बीएन सिंह, प्रो बी बी तिवारी, प्रो मानस पांडेय, प्रो अजय द्विवेदी, डॉ मनोज मिश्र, राकेश यादव, डॉ विजय कुमार सिंह, डॉ विजय प्रताप तिवारी,  डॉ पुनीत धवन ,डॉ दिग्विजय सिंह राठौर, डॉ के एस तोमर, डॉ संजय श्रीवास्तव, श्याम श्रीवास्तव समेत शिक्षकों एवं कर्मचारियों ने बधाई दी है।

Friday 4 October 2019

त्रेता का भाई विपत्ति तो कलयुग का भाई संपत्ति बाटता है- आचार्य शान्तनु

रामकथा आधुनिक जीवन के लिए जरुरी - 
कुलपति इलाहाबाद विश्वविद्यालय, प्रो0 रतन लाल हांगलु


विश्वविद्यालय स्थापना सप्ताह में चल रहे राम कथा में छठवें दिन आचार्य शांतनु जी महाराज ने भगवान राम के वन गमन के बड़ा मार्मिक ढंग से वर्णन किया। जिस अयोध्या में कौवा और चील राम राम जपते हो वहां कुसंग के प्रवेश करने पर सब रोने लगे। अयोध्या में एक साथ काम क्रोध और लोभ का प्रवेश हुआ। उन्होंने भगवान राम के भाइयों के प्रेम को रेखांकित करते हुए कहा कि कलयुग का भाई विपत्ति बटता था और कलयुग का भाई संपत्ति बाटता है।परिवार को नहीं तोड़ना चाहिए चाहे जितना भी संघर्ष करना पड़े परिवार को जोड़े रखना चाहिए। यह मानस सिखाता है।भाई राम के लिये चौदह वर्षों तक पत्नी से अलग रहकर वैराग्य  का आदर्श उदाहरण प्रस्तुत किया है।
रामकथा में पहुँचें  इलाहाबाद विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो रतनलाल हांगलु ने कहा कि रामकथा अध्यात्मिक जीवन के लिए ही नहीं आधुनिक जीवन के लिए भी महत्त्वपूर्ण हैं। भगवान राम हमारी आत्मा के प्रतीक हैं। उन्होंने कहा कि आज सारी सुख सुविधाएँ है लेकिन मनुष्य की आत्मा सुखी नहीं है, आत्मा इस लिए सुखी नहीं है क्यों कि वह राम के आदर्शों से बहुत दूर है. क्योंकि वह धर्म से दूर है।आज समाज की विसंगतियों को दूर करने के लिए अध्यात्म का दर्शन कराना जरूरी है। उन्होंने कहा कि दुनिया के सत्तर देशों में रामकथा लोग सुन रहे है।
कुलपति प्रो डॉ राजाराम यादव ने इलाहाबाद विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो रतन लाल हांगलु  को स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया। कुलसचिव सुजीत कुमार जायसवाल,वित्त अधिकारी एमके सिंह ने  कुलसचिव प्रो.नरेन्द्र कुमार शुक्ला, वैज्ञानिक प्रो केपी सिंह,चीफ प्राक्टर प्रो रामसेवक दुबे आदि को स्मृति चिन्ह प्रदान किया। इस अवसर पर डॉ मनोज द्विवेदी, डॉ रजनीश पांडेय, डॉ संजय पांडेय, डॉ चितरंजन सिंह, प्रो बी.बी तिवारी,परीक्षा नियंत्रक बीएन सिंह, डॉ केएस तोमर, प्रो बीडी शर्मा , प्रो एके श्रीवास्तव, प्रो वंदना राय, प्रो अजय द्विवेदी, प्रो अजय प्रताप सिंह, डॉ सतेंद्र प्रताप सिंह, डॉ रवि प्रकाश,  एन एस एस समन्वयक राकेश यादव, डॉ संदीप सिंह, डॉ दिग्विजय सिंह राठौर, डॉ जान्हवी श्रीवास्तव, डॉ अमरेंद्र सिंह, पूजा सक्सेना, डॉ विनय वर्मा, डॉ राजीव कुमार, डॉ सुशील कुमार सिंह  समेत तमाम लोग मौजूद रहे. 

पंडित सत्यप्रकाश मिश्र के गायन नें बांधा समा


 विश्वविद्यालय जौनपुर  महंत अवैद्यनाथ संगोष्ठी भवन में स्थापना सप्ताह के तहत सांस्कृतिक संध्या में अंतिम दिन गुरुवार को अयोध्या से आए शास्त्री गायन के महान हस्ताक्षर पंडित सत्यप्रकाश मिश्र की गजल और ठुमरी में समा बांधा।
प्रयागराज से आये प्रख्यात सितार  वादक प्रोफ़ेसर साहित्य कुमार नाहर और शोभित कुमार नाहर ने वैष्णव जन तो तेने कहिए जे पीर पराई जाने रे... भजन से शुरुआत की। इसके बाद राग वाचस्पति में स्वर और ताल की जुगलबंदी से पूरा सभागार झंकृत हो गया। इसी क्रम में मिर्जापुर की कजरी पर आधारित धुन को स्वर के माध्यम से प्रस्तुत किया। उनके साथ तबले पर संगत नंदकिशोर मिश्र ने की। महोबा से आए द्रुपद गायक पंडित जयनारायण शर्मा ने  हाय पिया कल रतिया पर ... ध्रुपद गायन पेश किया। उन्होंने जब अमीर खुसरो की प्रसिद्द छाप तिलक सब छीनी मोसे नैना मिलाइके..सुनाया तो दर्शक झूमने पर मजबूर हो गए। साथ में तबले पर संगत राजेश यादव ने की .संस्कृत संध्या के अंतिम दिन अयोध्या के सत्य प्रकाश मिश्र ने बंदिश से शुरुआत की।  उन्होंने ...सोचत काहे हे मनवा कौशिक कांगड़ा सुनाया, तो दर्शक भावुक हो गए। इसके बाद रंगी सारी गुलाबी चुनरिया रे... सुनाकर खूब वाहवाही लूटी। अंत में जब उन्होंने किसी से उनकी मंजिल का पता पाया नहीं जाता।जहां है वह, फरिश्तों का साया नहीं जाता।। सुनाया तो तालियों की गड़गड़ाहट से सभागार गूंज उठा। उनके साथ तबले पर संगत लालजी मलिक ने की। इस अवसर पर सभी कलाकारों को कथावाचक आचार्य शांतनु जी महाराज , कुलपति प्रोफेसर डॉ राजाराम यादव, कुलसचिव सुजीत कुमार जायसवाल, वित्त अधिकारी एमके सिंह, परीक्षा नियंत्रक बीएन सिंह, प्रोफेसर अजय द्विवेदी ने स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया। कार्यक्रम का संचालन डॉ मनोज मिश्र ने किया।

Thursday 3 October 2019

बाल कलाकार आराध्य प्रवीण के तबले पर दर्शक झूमे


कथक नृत्यांगना मनीषा मिश्रा की जोरदार प्रस्तुति

विश्वविद्यालय  के महंत अवैद्यनाथ संगोष्ठी भवन में स्थापना सप्ताह के तहत सांस्कृतिक संध्या में दूसरे दिन बुधवार को लखनऊ घराने की कथक कलाकार मनीषा मिश्रा और बाल कलाकार  आराध्य प्रवीण ने तबला वादन कर धमाल मचा दिया। पूरा हाल तालियों से लगातार गूंजता रहा।
संगीत संध्या की शुरुआत हंस ध्वनि राग से हुई इसमें तबला और वायलिन की जुगलबंदी पेश की गई।  तबले पर शंकर दा,बांसुरी पर सुनील   और वायलिन पर सुरेश ने युगलबंदी कर  समा बांध दिया।  इसके बाद लखनऊ से आये  बाल कलाकार आराध्य प्रवीण‌ ने जब तबले पर प्रस्तुति दी  तो दर्शक वाह -वाह कर उठे । उन्होंने बेदम, अतिवेतन , चक्करदार, अनागत और तीन ताल पर जोरदार प्रस्तुति की। उनकी दमदार प्रस्तुति से मंत्रमुग्ध होकर दर्शक बाल कलाकार को अपने स्थान पर  खड़े होकर सम्मान दिया। संगीत समारोह के अगले चरण में लखनऊ घराने की कथक नृत्यांगना मनीषा मिश्रा ने अपने प्रस्तुति दी।  शुरुआत ...या देवी सर्वभूतेषु की धुन पर की।इसमें महिषासुर मर्दिनी का अभिनय देखकर दर्शक मंत्रमुग्ध  हो गए।  उन्होंने कहा कि नृत्य मेरे लिए एक महा समुद्र के समान  है। मुझे इसके एक-एक बूंद का स्वाद चखना है। इसके बाद उन्होंने ताल त्रिताल-16 मात्रा के अंतर्गत उपज, घाट, आमद, उठान, परन लयवाट की जोरदार प्रस्तुति की। समारोह का समापन उन्होंने लय ताल में घोड़े की चाल, हिरण और शेर की चाल से किया। इस दौरान कथानक के अनुसार उनकी भाव भंगिमा बन जाती थी। जिसे देख कर लोग अपनी ताली बजाना नहीं रोक पाए । समारोह में लखनऊ से आये संगीतकार   पंडित रविंद्र नाथ मिश्र, अराध्य प्रवीण का तबला वादन, हारमोनियम पर प्रवीण कश्यप और सारंगी पर पंडित विनोद मिश्र ने संगत की और गायन में मंजूषा मिश्रा ने साथ दिया। सभी कलाकारों को आचार्य शांतनु जी , कुलपति प्रो डॉ राजाराम यादव, कुलसचिव सुजीत जायसवाल , वित्त अधिकारी एमके सिंह , प्रो  अजय द्विवेदी ने कलाकारों को स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया। संचालन डॉ अनुराग मिश्र ने किया।


Wednesday 2 October 2019

पूर्वांचल विश्वविद्यालय के विद्यार्थी करें नेतृत्व- कुलपति



पूर्वांचल विश्वविद्यालय में स्थापना दिवस एवं गांधी जयंती पर आयोजित हुए विविध कार्यक्रम

 विश्वविद्यालय की स्थापना दिवस समारोह धूमधाम से मनाया गया। महात्मा गांधी एवं लाल बहादुर शास्त्री के जयंती के अवसर पर उन्हें नमन किया गया। विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो डॉ राजाराम यादव ने गांधी वाटिका में स्थापित महात्मा गांधी की मूर्ति पर पुष्प अर्पित कर उन्हें नमन किया।
कौशल विकास एवं प्रशिक्षण आयोजित कार्यक्रम में अपने संबोधन में कुलपति प्रोफेसर डॉ राजाराम यादव ने कहा कि विश्वविद्यालय ने 33 वर्षों में शिक्षा के क्षेत्र में तमाम उपलब्धियां अर्जित की है। उन्होंने  कहा कि  इस विश्वविद्यालय ने महात्मा गांधी के विचारों को आत्मसात करते हुए विद्यार्थियों के हित   एवं समाज के कल्याण के लिए निरंतर कार्य किया है। उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी महानायक थे हमारी  यही कोशिश है कि पूर्वांचल विश्वविद्यालय के विद्यार्थी अनुसरणकर्ता  के साथ  नेतृत्वकर्ता भी बनें। उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी की सोच थी कि समाज का अंतिम व्यक्ति मुख्यधारा से जुड़े।  हमने इस दिशा में पहल करते हुए  गांवों  को गोद लेकर उनके विकास का खाका खींचा है।
 प्रोफेसर बीबी तिवारी ने महात्मा गांधी के विचारों को आत्मसात करने की बात कही। बी फार्मा की छात्रा मानसी सिंह एवं बीकॉम की छात्रा रितिका जयसवाल ने महात्मा गांधी के  व्यक्तित्व एवं कृतित्व पर प्रकाश डाला। विश्वविद्यालय के कर्मचारी राजनारायण सिंह , जगदंबा मिश्रा, रविंद्र तिवारी एवं धीरज श्रीवास्तव की टीम ने रामधुन  प्रस्तुत किया।  संचालन अशोक सिंह ने किया।
इस अवसर पर वित्त अधिकारी एमके सिंह, कुलसचिव सुजीत कुमार जायसवाल, प्रो मानस पांडे, प्रो बीडी शर्मा, प्रो अजय द्विवेदी, प्रो अशोक  श्रीवास्तव, प्रो अविनाश पाथर्डीकर, प्रो अजय प्रताप सिंह, डॉ मनोज मिश्र, डॉ संदीप सिंह, डॉ राकेश यादव, डॉ राजकुमार, डॉ प्रदीप कुमार, डॉ अवध बिहारी सिंह, डॉ मनीष गुप्ता, डॉ रजनीश भास्कर, डॉ संजय श्रीवास्तव, अमलदार यादव, स्वतंत्र कुमार, शीलनिधि सिंह, संतोष कुमार यादव, राजेंद्र गुप्ता समेत तमाम लोग उपस्थित रहे।


गांधी जयंती के अवसर पर विश्वविद्यालय में हुई प्रतियोगिताएं

विश्वविद्यालय के विद्यार्थियों ने बढ़ चढ़ कर किया प्रतिभाग

जौनपुर। वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय के विभिन्न विभागों  में महात्मा गांधी के जयंती के अवसर पर विविध प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया।
जनसंचार विभाग में आयोजित भाषण प्रतियोगिता में विद्यार्थियों ने सामाजिक सद्भाव एवं महात्मा गांधी विषय पर भाषण प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। इसमें शाकम्बरी नंदन एवं आराध्या श्रीवास्तव  ने संयुक्त रूप से  प्रथम स्थान प्राप्त किया। विभाग के अध्यक्ष डॉ मनोज मिश्र ने भी अपने विचार व्यक्त किये।

इंजीनियरिंग संस्थान के विश्वेश्वरैया सभागार में यांत्रिकी  विभागाध्यक्ष डॉ संदीप कुमार सिंह  ने महात्मा गांधी के जीवन दर्शन पर अपना विचार व्यक्त किया  इसके साथ ही भाषण प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। जिसका विषय था "समसामयिक भारत में गांधी जी के विचारों की महत्ता" रहा।  सभी विभागों के विद्यार्थियों ने बढ़ चढ़ कर हिस्सा लिया। इस अवसर पर प्रो बी बी तिवारी,  प्रो अशोक  श्रीवास्तव, प्रो बीडी शर्मा, दीप प्रकाश सिंह, हिमांशु तिवारी , अंकुश गौरव, शशांक दुबे, सुबोध कुमार, नवीन, रेहान,सन्तोष उपाध्याय, के के मिश्रा, सी पी सिंह आदि उपस्थित रहे।

गांधी जयंती की पूर्व संध्या पर फार्मेसी संस्थान में भी प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया। भाषण प्रतियोगिता में उग्रसेन यादव प्रथम, कुनाल पांडेय द्वितीय, आदित्य मिश्र तृतीय,  कविता पाठ में मो इब्राहिम प्रथम, नीरज द्वितीय, दीपक यादव तृतीय, रंगोली में मानसी सिंह प्रथम, आकांक्षा दुबे द्वितीय,संतोष मौर्य तृतीय, पोस्टर प्रतियोगिता में  अमित सिंह प्रथम, प्रशांत गुप्ता द्वितीय, कनक एवं शुभम तृतीय स्थान प्राप्त किये। इस प्रतोयोगिता में प्रो अजय द्विवेदी, डॉ सौरभ पाल, प्रो ए के श्रीवास्तव, राजीव कुमार, डॉ कमलेश पाल, डॉ विनय वर्मा, डॉ अमरेंद्र सिंह, डॉ धर्मेंद्र सिंह ने निर्णायक की भूमिका अदा की।

Tuesday 1 October 2019

श्री राम कथा अमृत वर्षा का तीसरा दिन



आज मनुष्य  दूसरे के सुख से दुखी है- आचार्य शांतनु


जौनपुर। वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय के महंत अवैद्यनाथ संगोष्ठी भवन में मंगलवार को श्री राम कथा अमृत वर्षा के तीसरे दिन आचार्य श्री शांतनु महाराज जी ने कहा कि अयोध्या में भगवान राम के जन्म लेते ही सभी मनोरथ पूरे हो गए।अयोध्या में जैसे था वैसे ही दौड़ पड़ा । यहीं भगवान के दर्शन की आचार संहिता है। उन्होंने कहा कि भगवान को पाने के लिए काम, क्रोध,मोह,लोभ को छोड़ने के लिए आप सद्मार्ग पर चलिए ये व्यसन  खुद ही आपको छोड़कर चला जाएगा । कामकाज को रामकाज बनाइए यहीं सूत्र वाक्य है।
उन्होंने कहा कि आज मनुष्य अपने दुख से दुखी नहीं है बल्कि दूसरे के सुख से दुखी है। वह दूसरों की  खुशी देखकर अवसाद में चला जा रहा है जो कि बड़ा दुर्भाग्य है.  राम राज्य में लोग  दूसरों के दुख में दुखी होते थे और दूसरों के सुख में सुखी।
व्यासपीठ पूजन में कुलपति प्रो डॉ राजाराम यादव, वित्त  अधिकारी एमके सिंह,प्रो बी बी तिवारी,प्रो अजय प्रताप सिंह, समन्यवक राकेश यादव, डॉ अनुराग मिश्र, नन्हकू सिंह, डॉ सुधांशु शेखर यादव, डॉ अजीत प्रकाश यादव, डॉ मिथिलेश दुबे, डॉ आशीष जायसवाल, रविंद्र तिवारी ने पूजन किया। संचालन जनसंचार विभाग के अध्यक्ष डॉ मनोज मिश्र  ने किया। इस अवसर पर प्रो अविनाश पाथीडेकर, डॉ प्रमोद यादव, डॉ संदीप सिंह,डॉ नृपेंद्र सिंह, डॉ सुधीर उपाध्याय, प्रमेन्द्र सिंह, जगदम्बा मिश्र, रविंद्र तिवारी समेत तमाम लोग मौजूद रहे. 

तीन दिवसीय सांस्कृतिक समारोह ०१ अक्टूबर से


पूर्वांचल विश्वविद्यालय  में जुटेंगे प्रतिष्ठित कलाकार
पूर्वांचल विश्वविद्यालय के महंत अवैद्यनाथ संगोष्ठी हाल में रामकथा के बाद एक से  तीन  अक्टूबर को सांस्कृतिक संध्या का आयोजन किया गया है। यह आयोजन सायं 7:30 से 9:30 तक चलेगा। सांस्कृतिक कार्यक्रम के तहत एक अक्टूबर को  कत्थक  कलाकार रवि सिंह प्रयागराज का नृत्य होगा। इसके बाद विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर राजाराम यादव का उप शास्त्रीय गायन होगा। 2 अक्टूबर को लखनऊ की मनीषा मिश्रा का कथक नृत्य और नंद कुमार जोशी का बांसुरी वादन होगा। 03 अक्टूबर कोअयोध्या के सत्य प्रकाश मिश्र का शास्त्रीय गायन , नंद कुमार जोशी का बांसुरी वादन और साहित्य कुमार नाहर का सितार वादन होगा। यह सांस्कृतिक कार्यक्रम राम कथा के बाद संगोष्ठी भवन में आयोजित किये जायेंगें। इसके लिए तैयारियां पूरी हो गई है.