Tuesday 19 April 2016

विश्वविद्यालय में युवा संसद


वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय के कांफ्रेंस हाल में 13वीं राष्ट्रीय युवा संसद प्रतियोगिता का आयोजन संसदीय कार्य मंत्रालय भारत सरकार द्वारा मंगलवार को किया गया। मुख्य अतिथि जौनपुर के पूर्व सांसद विद्यासागर सोनकर, विशिष्ट अतिथि भारत सरकार के नामित समन्वयक डा. दिनेश  अरोड़ा, डा. राजमणि मिश्रा एवं अध्यक्ष डॉ एच सी पुरोहित रहे।
युवा संसद की कार्यवाही प्रारम्भ होने पर स्पीकर बनी शायली मौर्या  ने सभी सांसदों का सदन में स्वागत किया एवं सदन को सुचारू रूप से चलाने का आग्रह किया। तत्पश्चात सेक्रेटरी जनरल सफिया फातिमा  द्वारा नवनिर्वाचित सांसद अभिषेक तिवारी  एवं रिया सोनी को शपथ ग्रहण दिलायी गयी। पूर्व राष्ट्रपति डॉ कलाम के आकस्मिक निधन पर शोक जताते हुए स्पीकर प्रधानमंत्री एवं नेता प्रतिपक्ष ने अपनी संवेदना व्यक्त की। प्रधानमंत्री द्वारा इसके बाद अपने नये मंत्रियों का परिचय सदन से कराया। प्रश्नकाल की शुरूआत करते हुए स्पीकर ने शारिक इकबाल को आमंत्रित किया। शारिक इकबाल  ने देश की जीवन रेखा कही जाने वाली सड़कों की जर्जर हालत पर परिवहन मंत्री का ध्यान आकृष्ट कराया।  सांसद बने छात्र शाहबाज ने प्रश्न किया कि अब तक कितने केंद्रीय विश्वविद्यालय बने है और वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय जौनपुर को अब तक केंद्रीय विश्वविद्यालय क्यों नहीं बनाया गया है? इसका जवाब देते हुए एचआरडी मंत्री बनी स्वाति सिंह  ने कहा कि देश में कुल 56 केंद्रीय विश्वविद्यालय है और जहां तक मेरी जानकारी में है वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय को केंद्रीय विश्वविद्यालय बनाने का कोई प्रस्ताव अभी तक मंत्रालय में नहीं आया है। प्रस्ताव आने पर मंत्रालय अवश्य विचार करेगा। 
सदन में प्रतिपक्ष के नेता की भूमिका अदा कर रहे अब्दुल अहद आजमी ने पठानकोट में हुए आतंकी हमलों में  खुफिया  एजेंसियों की विफलता पर  अपनी बात रखी। उन्होंने कहा कि देश के सवा सौ करोड़ देश वासियों की सुरक्षा सुनिश्चित करना क्या सरकार का दायित्व नहीं है । जिसका जवाब देते हुए गृह मंत्री की भूमिका में दिव्या शुक्ला  ने कहा कि भावुकता में न कहते हुए तथ्यों की बात की जानी चाहिए। उन्होंने कहा कि सुरक्षाबल के जवान अभिनन्दन और बधाई के पात्र हैं जिन्होंने आतंकियों के मंसूबों पर पानी फेर दिया।    
युवा संसद प्रतियोगिता में स्पीकर की भूमिका में विश्वविद्यालय की छात्रा शायली मौर्या, डिप्टी स्पीकर की भूमिका में नितिन कुमार चैहान, प्रधानमंत्री की भूमिका में अमन कुमार, गृह मंत्री की भूमिका में दिव्या शुक्ला, मानव संसाधन मंत्री की भूमिका में स्वाति सिंह, भूतल परिवहन मंत्री के रूप में ऋषभ बाजपेयी, नगर विमानन मंत्री मंत्री के रूप में पंकज भारती, रेल मंत्री के रूप में रजत जायसवाल, जल संसाधन मंत्री के रूप में स्नेहा मौर्या, पोत परिवहन मंत्री अभिषेक गुप्ता, वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री वैभव श्रीवास्तव, विदेश मंत्री श्रेया शुक्ला,मार्शल के रूप में रमेश मौर्या, सेक्रेटरी जनरल के रूप में सफिया फातिमा तथा विपक्ष के नेता के रूप में अब्दुल अहद आजमी  सहित लोकसभा सांसद के रूप में विश्वविद्यालय के विद्यार्थियों ने अपनी-अपनी भूमिका को प्रस्तुत किया। इनमें से स्पीकर की भूमिका को अदा करने वाली छात्रा शायली मौर्या  को प्रथम पुरस्कार, पेयजल और स्वच्छता मन्त्री बनी स्नेहा मौर्या को द्वितीय पुरस्कार, गृह मंत्री की भूमिका में दिव्या शुक्ला कोे तृतीय पुरस्कार, सांसद की भूमिका में रहे रूपशंकर मिश्र को चतुर्थ पुरस्कार, नेता प्रतिपक्ष की भूमिका में रहे अब्दुल अहद आजमी को पंचम पुरस्कार, वित्तमंत्री की भूमिका में रहे श्रेयान्श वात्सयायन को षष्टम पुरस्कार से पूर्व सांसद विद्यासागर सोनकर एवं भारत सरकार के नामित समन्वयक डा. दिनेश अरोड़ा सहित विशिष्ट अतिथियों द्वारा प्रमाण पत्र देकर सम्मानित किया गया।
युवा संसद में विश्वविद्यालय के छात्रों को किरदार निभाते देख पूर्व सांसद विद्यासागर सोनकर ने बहुत शुभकामनाएं दी। उन्होंने कहा कि भविष्य के सांसद, राजनेता एवं समाज सुधारक है समाज की बेहतरी एवं देश की प्रगति के लिए अभी से कार्य करना प्रारम्भ करें तथा आपके सकारात्मक गतिविधियों का लाभ समाज एवं देश के सामान्य नागरिक को भी मिले। अध्यक्ष डा0 एच0सी0 पुरोहित ने विद्यार्थियों की प्रतिभा की सराहना करते हुए कहा मुझे विश्वास है कि हमारे विश्वविद्यालय के विद्यार्थियों ने आज एक नया मुकाम हासिल किया है। विशिष्ट अतिथि डा. राजमणि मिश्रा ने भावी सांसद से अपेक्षा की कि विधायी प्रक्रिया जैसी होनी चाहिए उसी व्यवहार की अपेक्षा उनसे है। संसद में सकारात्मक भूमिका की प्रतीक्षा देश करता है। उसी भाव से आप सभी अपना लक्ष्य हासिल करें। उन्होने कहा कि संसद का मुख्य कार्य विधि का निर्माण करना है। कार्यक्रम में आये अतिथियों का स्वागत एवं स्मृति चिहन संयोजन कार्यक्रम संयोजक डा0 मानस पाण्डेय एवं संचालन डा0 मनोज मिश्र द्वारा किया गया। दर्शक दीर्घा में प्रो0 डी0डी0 दुबे, मिर्जा डावर बेग, डा. दिग्विजय सिंह राठौर, सहित विद्यार्थी उपस्थित रहे। 



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