Thursday 13 November 2014

झंकार 2014


 सांस्कृतिक प्रतियोगिता झंकार 2014 का संगोष्ठी भवन में १२ नवम्बर को  शुभारंभ करते हुए इग्नू के क्षेत्रीय निदेशक वाराणसी डा अश्विनी कुमार ने कहा  कि सांस्कृतिक कार्यक्रम से छात्रों में बहुआयामी प्रतिभा का विकास होता है। ऐसे कार्यक्रमों को विश्वविद्यालय को समय-समय पर आयोजित कराना चाहिए। जिससे छात्र अपने अंदर के छिपे हुए कलाकार को जान सके।  प्रो बीबी तिवारी ने कहा कि विश्वविद्यालय ऐसे सांस्कृतिक कार्यक्रम निरंतर आयोजित करके छात्रों का चारित्रक व व्यक्तित्व विकास का अवसर प्रदान करता है। पठन-पाठन के साथ छात्र ऐसे अवसरों पर अपने अंदर की प्रतिभा का प्रदर्शन करके उसमें निखार ला सकते है। शुभारंभ सहायक क्षेत्रीय निदेशक इग्नू वाराणसी डा संजय कुमार, डा बीबी तिवारी,डा प्रदीप कुमार ने दीप प्रज्वलित कर किया। तीन दिवसीय सांस्कृतिक कार्यक्रम में प्रथम दिन एकल व समूह नृत्य की प्रतियोगिता सम्पन्न हुई। आभार डाएचसी पुरोहित ने व्यक्त किया।


दूसरा दिन ----------------------------------------------------------------------------------------------------------
वीर बहादुर सिंह पूर्वांचल विश्वविद्यालय में चल रहे अंतर विभागीय/संकाय सांस्कृतिक प्रतियोगिता झंकार 2014 के दूसरे दिन थियेटर एवं गायन की प्रतियोगिता में प्रतिभागियों की प्रस्तुति ने श्रोताओं को भाव विभोर कर दिया। कृष्ण सुदामा मिलन पर जहां लोगों की आंखें भर आयी वहीं हीरा है अगर बेटा, तो मोती है बेटिया... जैसे सामाजिक संदेश वाले नाटकों ने लोगों को सोचने पर विवश किया। प्रतियोगिता का शुभारम्भ मुख्य अतिथि वित्त अधिकारी अमर चंद्र, प्रो. रामजी लाल, शिक्षक संघ अध्यक्ष डा. अनिल प्रताप सिंह एवं डा. मनोज कुमार सिंह ने दीप प्रज्जवलित कर किया।
मुख्य अतिथि वित्त अधिकारी अमर चन्द्र ने कहा कि विद्यार्थियों द्वारा प्रस्तुत किये गये नाटक उनकी कलात्मक अभिव्यक्ति को बखूबी प्रदर्शित करते है। प्रो. रामजी लाल ने प्रतिभागियों द्वारा नाटक में उठाये गये मुद्दों की सराहना की। दूसरे दिन की प्रतियोगिता में नौ नाटक और चार मूक अभिव्यक्ति का मंचन हुआ वहीं गायन प्रतियोगिता में 33 एकल गायन, एवं आठ समूह गायनों ने खूब तालियां बटोरी। नाटकों में कृष्ण सुदामा मिलन गोविंद मिश्र ग्रुप, अनपढ़ नारी शिक्षा एमएपी ग्रुप, लाजो का स्वयंवर द बफर ग्रुप, भ्रष्टाचार द इनवारमेंटल ग्रुप, दहेज प्रथा प्रेम प्रकाश ग्रुप, बड़े घर की बेटी इंजाइम सबस्ट्रैक्ट काम्प्लेक्स ग्रुप, बदला या बदलाव ट्रांजीसन ग्रुप एव ंदहेज प्रथा व विद्रोह नाटक रामचंदर नागर ग्रुप द्वारा प्रस्तुत किये गये। वहीं मूक अभिव्यक्ति में स्कूल की तैयारी आशुतोष अग्रवाल ग्रुप, बीटेक छात्रों के बिंदास ग्रुप ने यूज हेलमेट, प्रेमप्रकाश ने फनी रामायण व मोहम्मद शरीफ इकबाल ने काॅमेडी प्रस्तुत कर लोगों को खूब हंसाया।दूसरे दिन की प्रतियोगिता के निर्णायक मंडल में डाॅ. आशुतोष सिंह, डा. अवध बिहारी सिंह व शुभ्रा मल्ल रहीं। कार्यक्रम का संयोजन डाॅ. राजेश कुमार ने किया। धन्यवाद ज्ञापन डा. एचसी पुरोहित ने किया। इस अवसर पर डा. अविनाश पार्थडिकर, डा. एसके सिन्हा, डा. वंदना राय, डा. प्रदीप कुमार, डा. एसपी तिवारी, डा. मनोज मिश्र, डा. दिग्विजय सिंह राठौर, डा. विवेक पाण्डेय समेत तमाम छात्र-छात्राएं मौजूद रहे।


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